सचिन तेंदुलकर की एक अनकही कहानी// An Untold Story Behind Sachin Tendulkar//Three Generations one hero

सचिन तेंदुलकर की एक अनकही कहानी अक्सर हममें से ज़्यादातर लोग कठिन परिस्थितियां के आगे आसानी से हार मान लेते हैं या तो उन परिस्थितियों से समझौता कर लेते हैं क्योंकि शायद हमें सरल जीवन जीने की आदत सी हो गई है या तो हमें उन चुनौतियों को स्वीकार करने से डर लगता हो । यहां पर इसके जवाब हर लोगों के अलग-अलग हो सकते हैं, पर कुछ विरले ही ऐसे होते हैं जो दिखने में तो हम सबकी तरह ही सामान्य होते हैं पर उनकी सोच, साहस और उसकी ज़िद्दीपन उन्हें हम सबसे अलग और खास बनाती है । अगर आप इतिहास के पन्नों को पलटकर देखें तो आपको आश्चर्य होगा कि ज्यादातर इतिहास इन्हीं लोगों ने रचे हैं । किसी ने सच ही कहा है कि समझदार लोग तो केवल रचे हुए इतिहास पढ़ते हैं और इतिहास तो कोई सरफिरा ही रचते हैं । सन् 1989 का वो दिन भला कौन भूल सकता है जहां दो सरहदों की सम्मान "दांव" पर लगी हुई थी । दोनों ही देश एक दूसरे को पछाड़ने के लिए कोई कसर बाकी नहीं छोड़ना चाहते थे । वैसे तो ये दोनों ही सरहद आपस में भाईचारा या समझौता का रास्ता आसानी से अपनाना...